Symptoms of Coronavirus Infection and How to Deal With COVID-19
दुनियाभर में सबसे तेजी से फैलने वाला जानलेवा इंफेक्शन बन चुका है कोरोना वायरस। इस कारण दुनियाभर
में कई देशों में पूरी तरह कर्फ्यू लगा दिया गया है। अब जब बीमारी इतनी बड़ी है तो जाहिर सी बात है कि लोगों के
मन में इस बीमारी को लेकर सवाल, डर, भ्रम और कन्फ्यूजन का माहौल बना हुआ है। कोरोना वायरस क्या है,कैसे
फैलता है, किन लोगों को इंफेक्शन होने का रिस्क ज्यादा है, इस बीमारी का कोई इलाज है या नहीं, इस तरह के सवाल
अगर आपके मन में भी हैं, तो आप इस वायरस के बारे में बहुत अच्छे से जाने अपने सभी सवालों के जवाब.
में कई देशों में पूरी तरह कर्फ्यू लगा दिया गया है। अब जब बीमारी इतनी बड़ी है तो जाहिर सी बात है कि लोगों के
मन में इस बीमारी को लेकर सवाल, डर, भ्रम और कन्फ्यूजन का माहौल बना हुआ है। कोरोना वायरस क्या है,कैसे
फैलता है, किन लोगों को इंफेक्शन होने का रिस्क ज्यादा है, इस बीमारी का कोई इलाज है या नहीं, इस तरह के सवाल
अगर आपके मन में भी हैं, तो आप इस वायरस के बारे में बहुत अच्छे से जाने अपने सभी सवालों के जवाब.
1. क्या है कोरोना वायरस?
कोरोना वायरस का संबंध वायरस के ऐसे परिवार से है, जिसके संक्रमण से जुकाम से लेकर सांस लेने में तकलीफ जैसी
समस्या हो सकती है। इस वायरस को पहले कभी नहीं देखा गया है। इस वायरस का संक्रमण दिसंबर में चीन के वुहान
शहर में शुरू हुआ था। कोरोना वायरस, विषाणुओं के एक बहुत बड़े परिवार कता हिस्सा है लेकिन इनमें से सिर्फ 6
विषाणु ही ऐसे हैं जो इंसानों को संक्रमित कर सकते हैं। नोवेल कोरोना वायरस यानी ये नया वायरस पहली बार सामने
आया है जो इंसान को संक्रमित कर रहा है। WHO ने इस नए कोरोना वायरस को 2019-nCoV नाम दिया है।
समस्या हो सकती है। इस वायरस को पहले कभी नहीं देखा गया है। इस वायरस का संक्रमण दिसंबर में चीन के वुहान
शहर में शुरू हुआ था। कोरोना वायरस, विषाणुओं के एक बहुत बड़े परिवार कता हिस्सा है लेकिन इनमें से सिर्फ 6
विषाणु ही ऐसे हैं जो इंसानों को संक्रमित कर सकते हैं। नोवेल कोरोना वायरस यानी ये नया वायरस पहली बार सामने
आया है जो इंसान को संक्रमित कर रहा है। WHO ने इस नए कोरोना वायरस को 2019-nCoV नाम दिया है।
2. क्या हैं कोरोना वायरस के लक्षण?
इस बीमारी के लक्षणों की बात करें तो यह सामान्य सर्दी जुकाम या निमोनिया जैसा होता है। इस वायरस का संक्रमण
होने के बाद बुखार, जुकाम, सांस लेने में तकलीफ, नाक बहना और गले में खराश जैसी समस्या होती है। यह वायरस
एक व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति में फैलता है इसलिए इसे लेकर बहुत सावधानी बरती जा रही है। यह वायरस दिसंबर में
सबसे पहले चीन में सामने आया था और तब से ये बड़ी तेजी से दूसरे देशों में भी पहुंच रहा है।
होने के बाद बुखार, जुकाम, सांस लेने में तकलीफ, नाक बहना और गले में खराश जैसी समस्या होती है। यह वायरस
एक व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति में फैलता है इसलिए इसे लेकर बहुत सावधानी बरती जा रही है। यह वायरस दिसंबर में
सबसे पहले चीन में सामने आया था और तब से ये बड़ी तेजी से दूसरे देशों में भी पहुंच रहा है।
3. क्या कोरोना वायरस से निपटने के लिए कोई वैक्सीन है?
अब तक ना तो कोई वैक्सीन है और ना बन सकी है जो इस जानलेवा कोरोना वायरस से सुरक्षा प्रदान कर सके।
स्टडीज चल रही हैं और अनुसंधानकर्ता इस बारे में रिसर्च कर रहे हैं, दवा निर्माता कंपनियां भी इस बीमारी का इलाज
खोजने और इससे बचाव के लिए वैक्सीन बनाने में जुटी हैं। WHO भी कोरोना को लेकर पूरी तरह से सतर्क है और
इसका इलाज खोजने की हर संभव कोशिश कर रहा है। फिलहाल इससे बचने का सबसे अच्छा तरीका है ऐहतियात
बरतना।
स्टडीज चल रही हैं और अनुसंधानकर्ता इस बारे में रिसर्च कर रहे हैं, दवा निर्माता कंपनियां भी इस बीमारी का इलाज
खोजने और इससे बचाव के लिए वैक्सीन बनाने में जुटी हैं। WHO भी कोरोना को लेकर पूरी तरह से सतर्क है और
इसका इलाज खोजने की हर संभव कोशिश कर रहा है। फिलहाल इससे बचने का सबसे अच्छा तरीका है ऐहतियात
बरतना।
4. क्या एक इंसान से दूसरे में फैलता है कोरोना वायरस?
कोरोना वायरस आउटब्रेक की शुरुआत चीन के वुहान शहर स्थित सीफूड मार्केट से हुई थी और इस बात की आशंका
व्यक्त की जा रही है कि सभी बड़े मामले जानवरों से ही फैले हैं। हालांकि अब नए केस जो सामने आ रहे हैं उससे यही
लग रहा है कि कोरोना एक इंसान से दूसरे में छूने से फैल रहा है। आसान शब्दों में समझें तो अगर किसी व्यक्ति को
कोरोना वायरस का इंफेक्शन हो गया है तो दूसरा व्यक्ति जो उसके संपर्क में आएगा उसे भी ये इंफेक्शन हो जाएगा।
व्यक्त की जा रही है कि सभी बड़े मामले जानवरों से ही फैले हैं। हालांकि अब नए केस जो सामने आ रहे हैं उससे यही
लग रहा है कि कोरोना एक इंसान से दूसरे में छूने से फैल रहा है। आसान शब्दों में समझें तो अगर किसी व्यक्ति को
कोरोना वायरस का इंफेक्शन हो गया है तो दूसरा व्यक्ति जो उसके संपर्क में आएगा उसे भी ये इंफेक्शन हो जाएगा।
5. क्या मास्क पहनने से इंफेक्शन को फैलने से रोका जा सकता है?
कोरोना वायरस इतना ज्यादा और इतनी तेजी से फैल रहा है कि हर कोई इससे बचने का तरीका खोजने में लगा है और
कोरोना वायरस इतना ज्यादा और इतनी तेजी से फैल रहा है कि हर कोई इससे बचने का तरीका खोजने में लगा है और
इसी क्रम में आधी जनता सर्जिकल मास्क पहनकर सड़कों पर घूम रही है। सेंटर फॉर डिजीज कंट्रोल ऐंज प्रिवेंशन CDC
की मानें तो मास्क पहनने से इंफेक्शन फैलने का रिस्क कम नहीं होगा। सर्जिकल मास्क पहनने से सिर्फ इंफेक्शन का
रिस्क कम होगा इससे बचाव नहीं। प्रिवेंशन का सबसे अच्छा तरीका यही है कि आप अगर उन शहरों में ट्रैवल कर रहे हैं जहां
कोरोना वायरस का रिस्क ज्यादा है तो संक्रमित लोगों से दूर ही रहें।
की मानें तो मास्क पहनने से इंफेक्शन फैलने का रिस्क कम नहीं होगा। सर्जिकल मास्क पहनने से सिर्फ इंफेक्शन का
रिस्क कम होगा इससे बचाव नहीं। प्रिवेंशन का सबसे अच्छा तरीका यही है कि आप अगर उन शहरों में ट्रैवल कर रहे हैं जहां
कोरोना वायरस का रिस्क ज्यादा है तो संक्रमित लोगों से दूर ही रहें।
6. किन लोगों को ये बीमारी होने का रिस्क सबसे ज्यादा है?
वैज्ञानिक अब भी इस बात की खोज करने में लगे हैं कि आखिर ये कोरोना वायरस लोगों में फैल कैसे रहा है। बुजुर्गों में
मौत के आंकड़े ज्यादा देखने को मिल रहे हैं। इसके अलावा वैसे लोग जिन्हें पहले से किसी तरह की कोई बीमारी है या
फिर वैसे लोग जो लंबे समय से बीमार हैं उनमें भी इस बीमारी या इंफेक्शन होने का खतरा अधिक है।
फिर वैसे लोग जो लंबे समय से बीमार हैं उनमें भी इस बीमारी या इंफेक्शन होने का खतरा अधिक है।
क्या HIV की दवाइयों से हो सकता है कोरोना वायरस का इलाज?
थाइलैंड के एक डॉक्टरों के समूह ने दावा किया है कि उन्होंने कोरोना वायरस का इलाज खोज लिया है और इसके लिए
उन्होंने कोरोना वायरस के एक मरीज को HIV के इलाज में इस्तेमाल होने वाली दवाओं का एक मिश्रण दिया था।
डॉक्टरों की मानें तो दवा देने के 48 घंटे के अंदर उस मरीज में सकारात्मक रिकवरी देखने को मिली। हालांकि अब इस
बारे में कुछ भी पुख्ता तौर पर नहीं कहा जा सका है इसलिए हम ये नहीं कह सकते कि HIV की दवाइयां ही कोरोना का
इलाज हैं या नहीं।
उन्होंने कोरोना वायरस के एक मरीज को HIV के इलाज में इस्तेमाल होने वाली दवाओं का एक मिश्रण दिया था।
डॉक्टरों की मानें तो दवा देने के 48 घंटे के अंदर उस मरीज में सकारात्मक रिकवरी देखने को मिली। हालांकि अब इस
बारे में कुछ भी पुख्ता तौर पर नहीं कहा जा सका है इसलिए हम ये नहीं कह सकते कि HIV की दवाइयां ही कोरोना का
इलाज हैं या नहीं।
अच्छी बात तो यही है कि जितना खुद का ध्यान रखा जाए उतना अच्छा है और एक दूसरे से जितना दूर रहे उतना सही है। जब तक दवाई ना बने तब तक थोड़ा ध्यान रखा जाए । ये एक बहुत ही भयानक बीमारी का रूप धारण कर चुकी है । अगर आपको मेरी ये पोस्ट अच्छी लगे तो प्लीज लाइक शेयर जरूर करें ।
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